जज ने हिरासत में लेने का हुक्म दिया तो होश उड़ गए थानेदार के, कोर्ट से हो गया फरार

इंडिया एज न्यूज नेटवर्क
बाराबंकी | बाराबंकी के दरियाबाद थाने के थानाध्यक्ष दुर्गा प्रसाद शुक्ला को जज ने हिरासत में लेने का हुक्म दिया तो उसके होश उड़ गए और वो मौका देख कोर्ट से फरार हो गया।स्पेशल जज पवन कुमार शर्मा ने मामले का संज्ञान लेते हुए कोर्ट मोहर्रिर को एसओ के खिलाफ मुकदमा दर्ज कराने का आदेश दिया है. थानाध्यक्ष की पैरवी करने पहुंचे क्षेत्राधिकारी नगर को भी कोर्ट की फटकार का सामना करना पड़ा. न्यायाधीश ने कहा कि आप चाहें तो न्यायालय परिसर में ताला लगवा दीजिए।लंभुआ कोतवाली क्षेत्र के एक गांव से जुड़े छेड़छाड़ और वाहन चढ़ाकर की गई हत्या के मामले में कोर्ट ने यह प्रकरण संज्ञान में लिया. गैर इरादतन हत्या के मामले में दारोगा दुर्गा प्रसाद शुक्ला विवेचक थे. अगस्त 2019 को मृतका की दादी की तहरीर पर मुकदमा पंजीकृत किया गया था. मुख्य बयान छह जून 2022 को कोर्ट में दर्ज किया गया था. कोर्ट ने जिरह के लिए दारोगा को तलब किया था. 2 जुलाई, 16 अगस्त व 25 अगस्त को विवेचक गवाही देने के लिए कोर्ट नहीं आए. इस पर कोर्ट ने विवेचक के खिलाफ गैर जमानती वारंट जारी कर दिया था. मंगलवार को मामले में पेशी थी.मगर वो नही पहुंचेथानाध्यक्ष फोन पर 6 घंटे तक कोर्ट पहुंचने की जानकारी देते रहे. शाम करीब 4:30 बजे वह कोर्ट पहुंचे और गैर जमानती वारंट निरस्त करने के लिए अर्जी दी. स्पेशल जज पॉक्सो एक्ट पवन कुमार शर्मा ने थानाध्यक्ष का वारंट निरस्त करने के लिए दी गई अर्जी खारिज कर उन्हें न्यायिक अभिरक्षा में लेने का आदेश सुना दिया।कोर्ट ने थानाध्यक्ष को न्यायिक अभिरक्षा में रखते हुए बुधवार को सुबह 10.30 बजे अदालत में पेश करने का आदेश दिया।जेल जाने की नौबत आती देखकर थानाध्यक्ष दुर्गा प्रसाद शुक्ला कोर्ट से फरार हो गए. अंत में जब मामला सुर्खियों में आया तो पुलिस ने उन्हें ढूंढ कर हिरासत में लिया।कोर्ट ने हेड मोहर्रिर जरासंत यादव को थानाध्यक्ष दुर्गा प्रसाद शुक्ला को अभिरक्षा में लेकर कोतवाली ले जाकर उनके विरुद्ध एफआईआर दर्ज कराने का निर्देश दिया।
(जी.एन.एस)